राज्यसभा सांसद शरद यादव की अगुवाई वाले गुट ने एक बार फिर जेडीयू पर दावा ठोका है. शरद यादव गुट ने खुद को असली जेडीयू बताते हुए पार्टी के चुनाव चिन्ह को भी अपना बताया है, साथ ही चुनाव आयोग के सामने जल्द ही इसकी मजूबत दावेदारी पेश करने की बात भी कही है. शरद यादव गुट की ओर से रविवार को दिल्ली में बुलाई गई पार्टी की राष्ट्रीय परिषद की बैठक में यह दावा किया गया. बैठक में शरद यादव, अनवर अली के अलावा 19 राज्यों के पार्टी पदाधिकारी मौजूद थे. बैठक को संबोधित करते हुए शरद यादव ने कहा कि वह अपने सिद्धांतों पर ही चलेंगे. इसके लिए वह किसी भी स्तर तक जाने को तैयार हैं. उन्होंने मोदी और नीतीश के खिलाफ राष्ट्रीय महागठबंधन की कवायद की भी शुरुआत करने की बात कही.
लड़ाई व्यक्ति के खिलाफ नहीं विचारधारा के खिलाफ
शरद यादव ने कहा कि अब अवसरवादी ताकतों से देश को बचाने के लिए इसका देशव्यापी विस्तार किया जायेगा. प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी और मुख्यमंत्री नीतीश कुमार पर भी एक साथ हमला बोला. उन्होंने कहा कि नीतीश कुमार ने महज सत्ता की खातिर मोदी के खिलाफ बने महागठबंधन से खुद को अलग कर बिहार की जनता के साथ विश्वासघात किया है. उन्होंने जदयू से नीतीश को निकालने की परिषद के सदस्यों की मांग को खारिज करते हुए कहा कि जिन लोगों ने अपनी राह बदल ली है, उनसे अब हमें कोई वास्ता नहीं है. यह लड़ाई व्यक्ति के खिलाफ नहीं, विचारधारा के खिलाफ है.
संसद की सदस्यता नहीं सिद्धांत महत्वपूर्ण
शरद यादव ने नीतीश गुट द्वारा उनकी राज्यसभा सदस्यता रद्द करने की सिफारिश के बारे में कहा कि वह पहले भी तीन बार लोकसभा और तीन बार राज्य सभा की सदस्यता से सिद्धांत की खातिर इस्तीफा दे चुके हैं. उनके लिए संसद की सदस्यता नहीं सिद्धांत महत्वपूर्ण है. यादव ने धर्म, जाति, खानपान और पहनावे के नाम पर समाज को बांटनेवाली ताकतों से उपजे संकट का हवाला देते हुए राष्ट्रीय स्तर पर विपक्ष की एकजुटता को महागठबंधन के बैनर तले सुनिश्चित करने का भरोसा जताया.